Fungal Infection (फंगल इंफेक्शन) के कारण:-
वायु प्रदूषण, खुले में खाना खाने से, फाइबर युक्त चीजे न खाने से, बॉडी को डिटॉक्स न करने से, फालतू की चीजे ज्यादा खाने से, ब्लड गंदा होने से, मीठा या मीठे से बनी चीजें ज्यादा खाने से, शरीर में कफ व वात दोनो के बढ़ने के कारण। इसके अलावा खान पान में लापरवाही करना बाहर का खाना ज्यादा खाना। जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है उनको भी अक्सर ये रोग हो जाता है।
पहचान
फंगल इंफेक्शन (Fungal Infection) नाखून पर होता है और भी कई तरह के या साधारण होते है उसे आसानी से पहचान हो जाती है लेकिन कई फुंगल इंफेक्शन को आसानी से नही पहचान पाते है।
इसमें बॉडी पर पहले लाल लाल से होता है फिर सफ़ेद से होकर मास या स्किन झड़ने लग जाता है और प्रभावित जगह पर खुजली ज्यादा होती है।
फुंगल इंफेक्शन औरतों के vejnul area या parivate जगह पर अक्सर ज्यादा होती है।
उपचार
इसके इलाज में सबसे पहले गिलोय घन वटी मरीज को 1-1 गोली सुबह शाम चालू करे। उसके 8 रोज बाद 2-2 गोली दे उसे एक महीने बाद 1-1 गोली कर दे।
बकायन के पत्ते 100 gram लेकर 10 लीटर पानी में उबाले जब 3/4 पानी रह जाये तो नहाने के बाद इस पानी से नहाये पूरे शरीर पर रगड़ें पानी को उसके बाद तोलिये से पोछ ले या फिर 5 लीटर पानी में पांच ग्राम टंकण भस्म डाल कर पानी को गर्म करें और उस पानी को नहाने के बाद प्रयोग करें लेकिन दोनों में से एक ही प्रयोग करे। इस तरह 8 दिन तक ये प्रयोग करें फिर हफ्ते में 2 -3 बार फिर एक बार ऐसे करें।
करंजादी तेल की मालिश करें
ये तेल ना मिले तो हल्का सा लहुसन को कूटकर तिल के टेल में जला ले फिर उसकी मालिश करें
मालिश सुबह नहाने से 1 घंटे पहले व शाम को 4 बजे बाद डिनर करबे से पहले लगाए
नहाने में साबुन का प्रयोग ना करें या कोई aurvidik साबुन लगाए।
बॉडी को डिटॉक्स करने के लिए हफ्ते में एक बार त्रिफला रात को गर्म पानी के साथ में ले, ब्लड टिससुस को डिटॉक्स करबे के लिए हफ्ते में एक दो बार मुलेठी जरूर ले।रससौठ हफ्ते म एक दो बार खाने के बाद सुबह- शाम को एक चने के दाने के समान गर्म पानी से ले।
कुटकी भी चूस सकते है लेकिन कुटकी ठंडी तासीर वाले न ले।
इसके अलावा कच्चा प्याज, लहुसन, अदरक इन पर सैंधा नमक व नींबू डालकर सुबह खायें।
हैल्दी व फाइबर युक्त खाना खाये, नारियल की गिरी खाये लेकिन नारियल का पानी न ले, बीजों से युक्त सब्जियां न ले ,ऐसी चीजें ले जिससे बॉडी अंदर से साफ हो। मीठा कभी भी न खाए, आँतो के चिपकने वाली चीजें कभी भी ना खाएं, नमकीन मैदा से बनी चीजें चाय koofi, ठंडा पानी इनसे बचे विरुद्ध आहार न ले, शाम को दही व सुबह दूध न लें।
एंटीबॉयोटिक के फालतू सेवन करने से बचे क्योकि इससे पेट के बैक्टीरिया कम होते है साफ सुथरी जगह नहाये
रोजाना कपड़ें बदले साफ सुथरे व आरामदायक कपड़े ही पहने जब कपड़े धाये तो उसमें नीम के पत्तो का काढ़ा डाल कर धोये।
पहले ये प्रयोग करें इससे लगभग कैसा भी फेंगल इन्फेक्शन हो ठीक हो जाता है फिर भी यदि इससे फायदा न हो तो इसमें दो दवाई और शामिल करें
गंधक रसायन वटी ये गोली सल्फर से बनती गंधक ऑक्सजन की तरह होती है ये शरीर के सात धातुओं को साफ करती है इसलिये ये गोली किसी अच्छे वेद्य की देखरेख में ही करे।
1 -1 गोली सुबह शाम लेनी है ।
खादिरारिष्ठ व महमजीरारिष्ठ प्रवाही दोनो की खाना खाने के 1 घंटे बाद 2-2 चम्मच मिलाकर ले और इसके बाद ही गन्धक रसायन वटी ले।