Mangala Gauri Aarti
Mangala Gauri Aarti- शिव जी के प्रिय माह सावन की शुरुआत हो चुकी है। इस माह में प्रत्येक सोमवार को भगवान शिव की पूजा की जाती है। सावन माह में भगवान शिव के साथ ही मां गौरा पार्वती की भी आराधना की जाती है। सावन महीने में पड़ने वाले प्रत्येक मंगलवार के दिन मंगला गौरी व्रत रखा जाता है। सावन का पहला मंगला गौरी व्रत 19 जुलाई को रखा जाएगा।
Mangala Gauri Aarti
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मंगला गौरी व्रत अखंड सौभाग्य की प्राप्ति के लिए व्रत रखा जाता है। इस दिन विवाहित महिलाएं मंगला गौरी व्रत को विधि-विधान के साथ रखती हैं। मंगला गौरी व्रत के दिन मां पार्वती के समक्ष दीपक प्रज्वलित कर धूप, नैवेद्य फल-फूल आदि से पूजन किया जाता है। वहीं पूजा के पश्चात मां गौरी की आरती कर प्रसाद बांटा जाता है।
मान्यता है कि मंगला गौरी की आरती गाने से जीवन के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं और मां गौरा की कृपा सदैव बनी रहती है।
Mangala Gauri Aarti
जय मंगला गौरी माता, जय मंगला गौरी माता
ब्रह्मा सनातन देवी शुभ फल दाता। जय मंगला गौरी…।
अरिकुल पद्मा विनासनी जय सेवक त्राता,
जग जीवन जगदम्बा हरिहर गुण गाता। जय मंगला गौरी…।
सिंह को वाहन साजे कुंडल है,
साथा देव वधु जहं गावत नृत्य करता था। जय मंगला गौरी…।
सतयुग शील सुसुन्दर नाम सटी कहलाता,
हेमांचल घर जन्मी सखियन रंगराता। जय मंगला गौरी…।
शुम्भ निशुम्भ विदारे हेमांचल स्याता,
सहस भुजा तनु धरिके चक्र लियो हाता। जय मंगला गौरी…।
सृष्टी रूप तुही जननी शिव संग रंगराताए
नंदी भृंगी बीन लाही सारा मद माता। जय मंगला गौरी…।
देवन अरज करत हम चित को लाता,
गावत दे दे ताली मन में रंगराता। जय मंगला गौरी…।
मंगला गौरी माता की आरती जो कोई गाता
सदा सुख संपति पाता।
जय मंगला गौरी माता, जय मंगला गौरी माता।।